शिमला: हिमाचल प्रदेश विधानसभा में बुधवार (28 फरवरी) को विपक्ष की अनुपस्थिति में हिमालय प्रदेश विनियोग विधेयक 2024 को पारित कर दिया. इसके साथ ही विधानसभा सत्र के दौरान सुक्खू सरकार के गिरने का खतरा फिलहाल टल गया है.
बुधवार दोपहर भोजन के बाद विधानसभा की कार्यवाही आरंभ हुई. भाजपा के 15 निष्कासित विधानसभा सदन में नहीं आए. सदन की कार्यवाही शुरू होते ही भाजपा के वरिष्ठ विधायक सतपाल सत्ती ने भाजपा के विधायकों के निष्कासन का मुदा उठाया. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सदन में कहा कि भाजपा विधायकों के निष्कासन के दौरान किए हंगामे के चलते इनके खिलाफ कार्रवाई की जाए. सुक्खू ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में चाहे फौजी लगाओ सीआरपीएफ लगाओ यह जनता को नहीं डरा सकते हैं. राज्यसभा चुनाव में भाजपा धन से जीती है, जिन्होंने नियमों को तोड़ा है, उन पर कार्रवाई की जाए.
इस पर विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने कहा कि निष्कासन भाजपा के 15 विधायकों का किया गया है. इस विधायकों ने इस सदन की परंपराओं को तोड़ा है, जो की दुखद है. सदन में जो आज हंगामा हुआ है उसे पर जो भी नियमानुसार कार्रवाई भविष्य में करूंगा.
वहीं, संसदीय कार्य मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने कहा कि भाजपा के सदस्य सदन स्थगित होने के बाद भी सदन में बैठे रहे और हो हल्ला करते रहे. उन्होंने कहा कि यह नियमों के खिलाफ है और इस पर कार्रवाई होनी चाहिए. वहीं भाजपा विधायक सतपाल सती ने कहा कि सरकार अल्पमत में आ गई है. उन्होंने कहा कि ऐसा पहली बार हुआ है कि 15 विधायकों को निष्कासित किया गया है. उन्होंने कहा कि 15 लोगों को निकाला गया है. इसलिए हम भी सदन में नहीं रहना चाहते, इसके साथ भाजपा सदन से बहिर्गमन कर गई.
साभार- हिन्दुस्थान समाचार