भारत और कनाडा से जारी राजनयिक गतिरोध के बाद (26 अक्टूबर 2023) से एक बार फिर भारत ने कनाडा के नागरिकों के लिए कुछ वीजा सेवाएं शुरू करने जा रहा है. इसकी घोषणा एक दिन पहले बुधवार (25 अक्टूबर) को ही कर दी गई थी. कनाडा में भारतीय उच्च आयोग ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्वीटर) पर एक पोस्ट कर कहा था कि प्रारंभिक तौर पर एंट्री वीजा, बिजनेस विजा, मेडिकल और कॉन्फ्रेंस वीजा की सेवाएं गुरुवार से शुरू कर दी जाएंगी. कनाडा के नागरिक आज से ओटावा स्थित भारतीय उच्चायोग में इसके लिए आवेदन कर सकते हैं.
कनाडा में भारतीय राजनयिकों की सुरक्षा व्यवस्था से संतुष्ट होने के बाद भारत ने यह निर्णय लिया है. बुधवार को ओटावा में भारतीय उच्च आयोग ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट की गई विज्ञप्ति में कहा, “कनाडा के कुछ हालिया उपायों को ध्यान में रखते हुए सुरक्षा स्थिति की समीक्षा की गई. इसके बाद 26 अक्टूबर से एंट्री, बिजनेस, मेडिकल और कॉन्फ्रेंस वीजा को फिर से शुरू किया जाएगा.”
माना जा रहा है कि भारत का यह कदम कनाडा से रिश्तो में तनाव को कम करने के लिए महत्वपूर्ण है. उच्चायोग ने विज्ञप्ति में स्पष्ट कर दिया है कि ओटावा में भारतीय उच्चायोग और टोरंटो तथा बैंकूवर में उसके महावाणिज्य दूतावासों की सुरक्षा में कोताही की वजह से वीजा सेवाओं को अस्थाई रूप से निलंबित करने के लिए मजबूर होना पड़ा था. भारत ने ये भी कहा है कि उच्चायोग और महावाणिज्य दूतावास आपातकालीन स्थितियों के मद्देनजर कदम उठाते रहेंगे. बाकी वीजा सेवाओं को भी जल्द शुरू करने का संकेत देते हुए भारत ने कहा की स्थिति का निरंतर मूल्यांकन होगा और आगे के निर्णय लिए जाएंगे.
कनाडा द्वारा अपने 41 राजनयिकों को भारत से वापस बुलाए जाने के बाद विदेश मंत्री एस जयशंकर ने रविवार को कहा था कि कनाडा में भारतीय अधिकारियों को सुरक्षित वातावरण प्रदान करने में ओटावा की असमर्थता राजनयिक संबंधों पर विएना संधि के सबसे बुनियादी पहलू को चुनौती देती है. इस वजह से वीजा सेवाएं निलंबित की गई थीं. उन्होंने कहा था कि अगर भारत कनाडा में अपने राजनयिकों की सुरक्षा में प्रगति देखता है तो कनाडा के लोगों के लिए वीजा सेवाएं बहुत जल्द शुरू करने पर विचार कर सकता है.
इसके पहले कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया प्रांत में अलगावादी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की 18 जून को हत्या के बाद कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने इसका आरोप भारतीय खुफिया एजेंसी के अधिकारियों पर मंढा था. इसके बाद भारत से कनाडा के रिश्ते बिगड़ गए थे. भारत ने अपने बयान में ट्रूडो के आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया था और इसे बेतुका और प्रेरित बताया था. इसके बाद भारत ने कनाडा के नागरिकों के लिए वीजा जारी करने की सेवाओं को अस्थाई रूप से निलंबित करने की घोषणा की गई थी.