उपवास किसी न किसी रूप में हर धर्म का हिस्सा है, चाहे वह हिन्दू धर्म हो, इस्लाम या यहूदी धर्म. हर संस्कृति में उपवास और व्रतों को विशेष महत्व दिया गया है. हमें पता हो या न हो, हमारी परंपराएं और रीति-रिवाज वास्तव में वैज्ञानिक सिद्धांतों पर आधारित हैं. उपवास से शरीर को डिटॉक्स होने का अवसर मिलता है और पाचन तंत्र भी मजबूत होता है. यह एक प्राकृतिक तरीका है शरीर को आराम देने और उसे उर्जावान बनाने का.
उपवास या व्रत वजन कम करने में मददगार साबित होता है. व्रत के दौरान कैलोरी इनटेक कम होने से शरीर का वजन घटता है. इसके अलावा, व्रत से पाचन प्रक्रिया भी बेहतर होती है जिससे वज़न नियंत्रण में रहता है. लेकिन यह ध्यान रखना जरूरी है कि व्रत के बाद संतुलित आहार लेना चाहिए ताकि वजन फिर से बढ़ने न पाए. अतः वज़न घटाने के लिए व्रत एक प्रभावी और प्राकृतिक तरीका है.
व्रत के दौरान पाचन तंत्र को आराम मिलता है और ऊर्जा की खपत कम होती है. इससे शरीर में ऊर्जा संचित होती है.व्रत से शरीर में इंसुलिन का स्तर कम हो जाता है जिससे ऊर्जा लेवल बढ़ जाता है. यही नहीं व्रत से मेटाबॉलिज्म बढ़ता है और हार्मोन का स्तर संतुलित होता है जिससे ऊर्जा बढ़ती है. व्रत करने से ब्लड शुगर लेवल में सुधार होता है जो शरीर को अधिक ऊर्जा देता है.लेकिन फास्ट में लिक्विड लेना जरूरी होता है.
जर्नल ऑफ साइंस एंड सोसाइटी में प्रकाशित एक शोध में 110 मोटापे से पीड़ित वयस्कों पर 8 हफ़्तों तक हर तीसरे दिन व्रत करवाया गया. अध्ययन के अंत में, सभी व्यक्ति में खराब कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड्स में 25% तक कमी देखी गई. साथ ही, उच्च रक्तचाप की समस्या 32% तक कम हुई और हृदय रोगों का जोखिम को भी कम किया .