हिमाचल के कांगड़ा जिले में बज्रेश्वरी देवी मंदिर स्थित है, जो मां दुर्गा के 51 शक्तिपीठों में से एक माना जाता है. ये कांगड़ा देवी मंदिर और नगरकोट धाम के नाम से भी प्रसिद्ध है. यह पवित्र स्थल हिंदू भक्तों के लिए अटूट श्रद्धा का केंद्र है. यहां दर्शन करने से भक्तों की हर दुख तकलीफ दूर हो जाती है. मान्यता है कि इस स्थान पर देवी सती का वक्षस्थल गिरा था.

मंदिर के गर्भगृह में देवी बज्रेश्वरी पिंडी के रूप में विराजमान हैं, दूसरी पिंडी मां भद्रकाली की है. वहीं तीसरी और सबसे छोटी पिंडी माता एकादशी की है. मंदिर परिसर में भगवान भैरव और ध्यानु भगत की मूर्तियां भी स्थापित हैं, जिनका भी अपना एक अहम महत्व है. मंदिर परिसर मजबूत और ऊंची पत्थर की दीवारों से घिरा हुआ है, जो इसे एक किले जैसा स्वरूप देता है. मंदिर के पास से बाण गंगा नामक नदी बहती है, जिसमें डुबकी लगाने का विशेष महत्व है. यहां सालभर श्रद्धालु माता का आशीर्वाद लेने आते हैं. नवरात्रों के दिनों में मंदिर की शोभा देखने लायक होती है.

इतिहास और पौराणिक कथा:
मान्यता है कि महाभारत काल में पांडवों द्वारा इस मंदिर का निर्माण किया गया था. इस मंदिर को मुस्लिम आक्रमणकारियों ने कई बार लूटा और नष्ट करने का प्रयास किया, महमूद गजनवी ने इसे 5 बार लूटा था. बावजूद इसके, भक्तों की अटूट आस्था और देवी की कृपा से यह मंदिर हर बार स्थापित होता रहा. साल 1905 में आए विनाशकारी भूकंप में मंदिर का अधिकांश हिस्सा बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया था, जिसके बाद इसका पुनर्निर्माण किया गया.

बज्रेश्वरी देवी मंदिर के बारे में कुछ मुख्य बातें:
यहां स्थापित भगवान भैरव की अनोखी प्रतिमा के बारे में मान्यता है कि जब कोई आपदा या परेशानी आने वाली होती है तो उनकी आंखों से आंसू निकलने लगते हैं. संकट आने से पहले ही लोगों को उसका संकेत मिल जाता है. यह मंदिर प्रसिद्ध 9 देवी यात्रा में तीसरे स्थान पर आता है. बज्रेश्वरी मंदिर न केवल एक महत्वपूर्ण तीर्थस्थल है, बल्कि यह इतिहास और वास्तुकला में रुचि रखने वाले पर्यटकों के लिए भी प्रमुख आकर्षण का केंद्र है.

ऐसे पहुंचे बज्रेश्वरी देवी धाम:
बज्रेश्वरी देवी मंदिर पहुंचने के लिए कई विकल्प उपलब्ध हैं.
सड़क मार्ग:
हिमाचल प्रदेश के लिए बसें राजधानी दिल्ली, चंडीगढ़ और पठानकोट जैसे शहरों से उपलब्ध हैं. इसके अलावा आप अपनी निजी गाड़ी या टैक्सी किराए पर लेकर यहां पहुंच सकते हैं.
रेल मार्ग:
निकटतम रेलवे स्टेशन कांगड़ा मंदिर रेलवे स्टेशन है. यह मंदिर से लगभग 3 किमी दूर है.
पठानकोट सबसे नज़दीकी ब्रॉड गेज रेलवे स्टेशन है, जो लगभग 90 किमी दूर है.
हवाई मार्ग:
निकटतम हवाई अड्डा कांगड़ा हवाई अड्डा (Gaggal Airport) है, जो मंदिर से लगभग 8 किमी दूर है.