शिमला: भाजपा सांसद सुरेश कश्यप ने केंद्र सरकार की आर्थिक मदद को लेकर प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि हिमाचल प्रदेश वर्तमान में पूरी तरह से केंद्र की सहायता पर निर्भर है. यदि केंद्र सरकार आर्थिक मदद न करे तो प्रदेश सरकार अपने कर्मचारियों को वेतन और पेंशन देने में भी सक्षम नहीं होगी. उन्होंने प्रदेश सरकार द्वारा मंदिरों के धन को सरकारी योजनाओं में इस्तेमाल करने की मंशा को चिंताजनक और दुर्भाग्यपूर्ण बताया.
सांसद कश्यप ने सोमवार को शिमला में जिला विकास समन्वय एवं निगरानी समिति (दिशा) की बैठक की अध्यक्षता की. इस दौरान उन्होंने अधिकारियों से केंद्र प्रायोजित योजनाओं की प्रगति रिपोर्ट ली और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए. बैठक में विभिन्न विकास कार्यों की समीक्षा की गई, जिसमें प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना (PMGSY) की धीमी प्रगति पर भी चिंता जताई गई. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने चौथे चरण की शुरुआत कर दी है, लेकिन प्रदेश में अब तक पहले और दूसरे चरण के कार्य भी अधूरे पड़े हैं.
केंद्र की सीधी फंडिंग से योजनाओं को मिलेगा लाभ
सांसद कश्यप ने कहा कि केंद्र सरकार ने हिमाचल को विशेष राज्य का दर्जा दिया है, जिसके तहत 90:10 के अनुपात में आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार यह दावा कर रही है कि उसे केंद्र से पर्याप्त मदद नहीं मिल रही, जबकि सच्चाई यह है कि हिमाचल को लगातार केंद्र से आर्थिक सहयोग मिल रहा है. उदाहरण के तौर पर, हाल ही में शिमला संसदीय क्षेत्र की कुफरी-चायल सड़क के लिए केंद्र सरकार से 53 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं.
उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार ने अब ट्रेजरी के माध्यम से फंड जारी करने के बजाय योजनाओं को सीधे वित्त पोषण करने का निर्णय लिया है. इससे विकास परियोजनाओं को गति मिलेगी और धन के दुरुपयोग पर भी अंकुश लगेगा. इस दौरान सांसद ने विधायक त्रिलोक जामवाल द्वारा लगाए गए उन आरोपों का समर्थन किया, जिसमें प्रदेश सरकार पर केंद्र द्वारा जारी धन के गलत इस्तेमाल का आरोप लगाया गया था.
मंदिरों की धनराशि का इस्तेमाल दुर्भाग्यपूर्ण
सांसद कश्यप ने प्रदेश सरकार द्वारा मंदिरों की आय को सरकारी योजनाओं में लगाने की संभावनाओं पर कड़ी आपत्ति जताई. उन्होंने कहा कि हिमाचल देवभूमि है और मंदिरों का धन आस्था से जुड़ा हुआ है, जिसका उपयोग सरकारी खर्चों को पूरा करने के लिए किया जाना न केवल अनुचित बल्कि अत्यंत चिंताजनक भी है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार आर्थिक कुप्रबंधन के कारण मंदिरों की आय पर निर्भर होने की कोशिश कर रही है, जो धार्मिक भावनाओं के साथ अन्याय होगा.
उन्होंने कहा कि भाजपा के सभी सांसद लगातार केंद्र सरकार से हिमाचल प्रदेश के विकास के लिए आर्थिक सहायता की मांग कर रहे हैं और केंद्र भी प्रदेश की हरसंभव मदद कर रहा है. लेकिन प्रदेश सरकार केंद्र की ओर से मिल रही सहायता को नकार रही है और आर्थिक तंगी का रोना रो रही है. उन्होंने कहा कि यदि केंद्र सरकार आर्थिक सहयोग न करे तो हिमाचल प्रदेश सरकार अपने कर्मचारियों का वेतन और पेंशन तक देने में असमर्थ हो जाएगी.
हिमाचल को मिल रही विशेष सहायता
सांसद कश्यप ने कहा कि हिमाचल प्रदेश को केंद्र से विशेष दर्जा प्राप्त है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में इसे 90:10 के अनुपात में सहायता मिल रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार केंद्र की ओर से दी जा रही सहायता का सही इस्तेमाल नहीं कर पा रही और योजनाओं के क्रियान्वयन में देरी कर रही है.
हिन्दुस्थान समाचार