भारतीय सेना के जवान सरहद पर हमारे देश की रक्षा के लिए चौबिसों घंटे तैनात रहते हैं. अपने घर-परिवार, गांव से सैंकड़ों किलोमीटर दूर सिर्फ भारत माता के सपूत कई प्रकार की चुनौतियों का सामना करते हुए राष्ट्र की सुरक्षा करते हैं. ऐसे दुर्गम क्षेत्र जहां पहुंचना कठिन है. सर्दियों में तापमान शून्य से नीचे हो या गर्मियों में 55 डिग्री से ज्यादा हो. कोई भी मौसम सेना के जवानों का हौसला नहीं तोड़ पाता है. ऐसी विपरीत परिस्थितयों में भी सेना के जवान पूरी मुस्तैदी के साथ वहां खड़े रहते हैं.
जरा सोचिए सेना के इतने त्याग और समर्पण के बावजूद कोई उनके शौर्य और उनकी वीरता पर प्रश्नचिन्ह लगाए और उनकी वीरता के सबूत मांगे. इससे बड़ा दुर्भाग्य क्या हो सकता है. जी हां, हम बात कर रहे हैं विपक्ष गठबंधन इंडी के नेताओं की. जिन्होंने बालाकोट एयर स्ट्राइक के समय सेना के पराक्रम पर प्रश्न उठाए थे. आज उन्हीं नेताओं को हम एक-कर दिखाने जा रहे हैं.
पुलवामा आतंकी हमले के बाद जब मोदी सरकार ने अपने बलिदानी वीर जवानों का बदला लेने के लिए सेना को खुली छूट दी तो भारतीय सेना के जवानों ने टसू भर गलती करे बिना सफलतापूर्वक आंतकी आकाओं के ठिकानों को तबाह किया और इतना ही नहीं वह सभी टारगेट हिट कर सूर्योदय से पहले वतन वापस भी आ गए. पूरा देश जहां वीर जवानों को नमन कर रहा था. आतंकियों के मरने पर जश्न मना रहा था. वहीं हमारे देश के विपक्षी नेता सेना के सर्जिकल स्ट्राइक करने के सबूत मांग रहे थे. आइए जानते हैं कि भारतीय सेना के पराक्रम पर विपक्ष के किन-किन नेताओं ने क्या सवाल उठाए?
1. सीएम रेवंत रेड्डी- तेलंगाना के सीएम रेड्डी ने 11 मई 2024 को बालाकोट एयर स्ट्राइक को लेकर कहा कि कोई भी स्पष्ट रूप से ये नहीं जानता कि सर्जिकल स्ट्राइक हुई भी है या नहीं. अगर भारत की आंतरिक सुरक्षा का जिम्मा कांग्रेस का होता, तो हम किसी दूसरे के हाथ में नहीं सौंपते.
2. कांग्रेस नेता राशिद अल्वी- कांग्रेस नेता राशिद अल्वी ने 27 जनवरी 2023 को सरकार से हवाई हमले का वीडियो साझा करने की मांग की थी. उनका कहना था कि उन्हें भारतीय जवानों पर गर्व है, मगर सरकार पर विश्वास नहीं है. एयर स्ट्राइक पर भाजपा नेताओं के बयान अलग-अलग हैं, अगर सरकार के पास इसका वीडियो है तो उसे जारी क्यों नहीं करती?
3. J&K के पूर्व सीएम फारूख अब्दुल्ला- नेशनल कॉन्फेंस के अध्यक्ष फारूख अब्दुल्ला ने 21 अक्टूबर 2021 को कहा था कि बालाकोट एयर स्ट्राइक से हमें क्या मिला? क्या LOC बदल गई? क्या पाकिस्तान की जमीन का कोई हिस्सा हमें वापस मिला? LOC अभी भी है. भारत ने वहां हवाई हमला किया लेकिन हमें क्या मिला?
4. हामिद अंसारी- कांग्रेस राज में उपराष्ट्रपति रहे हामिद अंसारी ने 24 अप्रैल 2019 को कहा था कि सर्जिकल स्ट्राइक, रक्षा मामले समेत कई मुद्दों पर सवाल पूछने का हक हर नागरिक का है. साथ ही सरकार की ये जिम्मेदारी है कि वह इन सवालों का जवाब दे.
5. कांग्रेस नेता लालचंद कटारिया- 28 मार्च 2019 में राजस्थान के तत्कालीन कृषि मंत्री लालचंद कटारिया ने भी केंद्र सरकार से एयर स्ट्राइक के सबूत मांगे थे. उन्होंने सवाल उठाया था कि पाकिस्तान में 300 आतंकी मरे किसने देखे, कौन गिनने गया था?
6. सैम पित्रोदा- सैम पित्रोदा ने 23 मार्च 2019 को अपने ट्वीट में कहा था कि क्या सच में सर्जिकल स्ट्राइक हुई थी और उसमें 300 आतंकी ढेर हुए थे? मैं सरकार से इसका जवाब चाहता हूं. मैं अपनी टिप्पणी पर अब भी बरकरार हूं.
7. आजम खान (सपा)- समाजवादी पार्टी के आजम खान ने 11 मार्च 2019 को सर्जिकल स्ट्राइक पर सवाल खडें किए थे. उन्होंने मोदी सरकार पर जवानों के बलिदान पर वोट मांगने और राजनीति करने के आरोप लगाए थे.
8. सीपीआई नेता डी राजा- डी राजा ने 6 मार्च 2019 को हवाई हमले पर सवाल उठाते हुए कहा था कि क्या हकीक्त में बालाकोट में आतंकी मारे गए थे? इसका सबूत जनता के सामने आना चाहिए. क्या ये स्ट्राइक पॉलिटिक्ल फायदे के लिए करवाई गई थी. क्योंकि सरकार इसे अपने चुनावी लाभ के लिए इसतेमाल कर रही है.
9. अरविंद केजरीवाल- 5 मार्च 2019 को दिल्ली के तत्कालीन सीएम अरविंद केजरीवाल ने भी एयर स्ट्राइक पर मोदी सरकार को घेरा था और केंद्र से सबूत मांगे थे.
अब सवाल उठता है कि सार्वजनिक जीवन में काम करने वाले यह नेता, जिनकी जनता के प्रति जिम्मेदारी है. वो राष्ट्र की एकता और अखंडता के खिलाफ कैसे ऐसा बयान दे सकते हैं. इन्हें समझना होगा सिर्फ राजनीतिक हित से बड़ा देश होता है और देश है तो हम है.