सोलन: जिले के औद्योगिक क्षेत्र में गंदगी का अंबार लगा देखा जा रहा है, जिससे जल जनित रोगों का खतरा बना हुआ है. बद्दी की सड़कों से लेकर हर गली मोहल्ले और कुछ सोसाइटियों में भी गंदा पानी बहता हुआ दिखाई देता है . बद्दी आने वाले आमजन व राजनीतिक पार्टी के नेताओं का स्वागत इन दिनों गंदगी और बदबूदार वातावरण से हो रहा है . वहीं जिले के परवाणू में भी डायरियां के मामले सामने आए हैं . नगर परिषद बद्दी के वर्तमान के पार्षद पूर्व के पार्षदों व उच्चाधिकारियों पर सफाई व्यवस्था पर सवाल उठाते थे , आज वह खुद ही इन सवालों के कटघरे में खड़े हैं .
उपायक्त सोलन मनमोहन शर्मा ने कहा कि जिला में जल जनित रोगों की रोकथाम एवं नियंत्रण के लिए प्रभावी कदम उठाए जा रहे हैं. जिला के कुछेक क्षेत्रों में डायरिया के मामले सामने आने पर इसकी रोकथाम के दृष्टिगत सभी आवश्यक उपाय किए जा रहे हैं और संबंधित विभागों को आवश्यक दिशानिर्देश दिए गए हैं. उन्होंने कहा कि मंगलवार को प्रभावित क्षेत्रों में क्लोरिनेशन का कार्य जारी रहा और डायरिया के मामलों में भी कमी देखी गई है.
उन्होंने कहा कि औद्योगिक क्षेत्र परवाणु में डायरिया की रोकथाम के लिए अधिशाषी अभियंता हिमुडा को जल संसाधनों का क्लोरीनीकरण करने के निर्देश दिए गए हैं. विशेष तौर पर जिन पेयजल भंडारण व स्रोतों के माध्यम से परवाणु और इसके आस-पास के क्षेत्रों में पानी की आपूर्ति की जाती है, वहां विभागीय दलों द्वारा क्लोरिनेशन का कार्य किया जा रहा है.
उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग को डायरिया के दैनिक मामलों के सम्बन्ध में अपडेट करने के निर्देश दिए गए हैं. उन्होंने विभाग को प्रभावित क्षेत्रों में ओ.आर.एस. पैकेट वितरित करने और आशा कार्यकर्ताओं की मदद से लोगों में जागरूकता फैलाने के भी निर्देश दिए.
उन्होंने कहा कि डायरिया की रोकथाम के लिए नगर परिषद परवाणु, कालका व अन्य निकटवर्ती स्थानों के माध्यम से परवाणु में पानी की आपूर्ति के लिए किराए पर लिए गए पानी के टैंकरों के पंजीकरण की भी जांच करवाई जा रही है.
उपायुक्त ने कहा कि सहायक आयुक्त परवाणु तथा मुख्य चिकित्सा अधिकारी सोलन को परवाणु व आस-पास के क्षेत्रों में डायरिया से बचाव के लिए उचित दिशा-निर्देश जारी कर दिए गए हैं.
साभार- हिन्दुस्थान समाचार